रेमन मैग्सेसे अवार्ड फाउंडेशन ने कुछ सप्ताह पहले केरल की पूर्व स्वास्थ्य मंत्री केके शैलजा को 64वें मैग्सेसे पुरस्कार के लिए चुना था। हालांकि, उन्होंने अपनी पार्टी सीपीएम के आदेश के बाद इसे ठुकरा दिया है। शैलजा को निपाह के प्रकोप और कोविड-19 महामारी के दौरान एक स्वास्थ्य मंत्री के रूप में उनके कार्यों को लेकर इस अवार्ड के लिए चुना गया था। माकपा ने रेमन मैग्सेसे कम्युनिस्टों का उत्पीड़क करार दिया है। साथ ही पार्टी का कहना है कि केरल में कोविड के खिलाफ एक सामूहिक लड़ाई लड़ी गई थी।
सीपीएम महासचिव सीताराम येचुरी ने रविवार को कहा कि पार्टी नेतृत्व ने फिलीपींस में कम्युनिस्टों के उत्पीड़क रेमन मैग्सेसे के नाम पर दिए जाने वाले पुरस्कार को अपनाने से इनकार कर दिया है। उन्होंने कहा, "शैलाजा को एक व्यक्ति के रूप में चुना गया था। लेकिन कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई किसी एक व्यक्ति की उपलब्धि नहीं थी। वैसे भी नेताओं के लिए मैग्सेसे पुरस्कार नहीं माना जाता है।" येचुरी ने कहा कि रेमन मैग्सेसे कम्युनिस्ट विरोधी थे।
शैलजा ने भी पार्टी के फैसले का बचाव किया। उन्होंने कहा, "मैं एक नेता हूं। आम तौर पर यह पुरस्कार राजनीतिक दलों के नेताओं को नहीं दिया जाता है। इस संदर्भ में मैंने पार्टी नेतृत्व के साथ चर्चा की। इसके बाद पुरस्कार फाउंडेशन को सूचित किया कि मैं यह पुरस्कार नहीं ले सकती हूं।"
आपको बता दें कि केरल ने कोरोना की पहली लहर के दौरान ट्रैकिंग, टेस्टिंग और ट्रीटमेंट पर जोर दिया। इस मॉडल को दुनिया के कई देशों ने भी अपनाया। स्वास्थ्य मंत्री के रूप में शैलजा ने इसमें एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
सीपीएम ने इन अटकलों को खारिज कर दिया कि शैलजा की बढ़ती लोकप्रियता के कारण पार्टी नेतृत्व ने उन्हें मैग्सेसे पुरस्कार को अस्वीकार करने का आदेश दिया। केरल की राजनीति में इस बात की चर्चा है कि वह एक उभरती हुई नेता हैं, जो किसी भी समय केरल के मुख्यमंत्री के रूप में पिनाराई विजयन की जगह ले सकती हैं। आपको बता दें कि उनकी सरकार ने बाद में उन्हें स्वास्थ्य मंत्री की जिम्मेदारी से मुक्त कर दिया। सीपीएम के नए राज्य सचिव एम वी गोविंदन ने कहा कि एक कम्युनिस्ट नेता को मैग्सेसे पुरस्कार देने के कदम के पीछे एक साजिश थी। उन्होंने कहा, "मैगसेसे एक प्रमुख कम्युनिस्ट विरोधी थे। एक कम्युनिस्ट को उनके नाम पर दिए जाने वाले पुरस्कार को नहीं स्वीकार करना चाहिए। शैलजा ने इसे समझा और उन्होंने सही निर्णय लिया।"